बलौदाबाजार हिंसा : प्रदेश का सबसे सुंदर कलेक्टर आफिस जलकर खाक

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बाल-बाल बचे सौ से ज्यादा कर्मचारी, 25 पुलिसकर्मी घायल
भीड़ के बीच कुछ उपद्रवियों ने गाड़ियों में की तोड़फोड़, दमकल गाड़ियों को भी बनाया निशाना


रायपुर। रायपुर से करीब 86 किलोमीटर दूर बलौदाबाजार में प्रदर्शन के दौरान भीड़ अचानक उग्र हो गई। लोग उपद्रव करते हुए कलेक्टर-एसपी कार्यालय पहुंचे और गाड़ियों में तोड़फोड़ शुरू कर दी। तोड़फोड़ करने के बाद कलेक्टोरेट-एसपी कार्यालय और जिला पंचायत कार्यालय में आग लगा दी। पुलिस ने जैसे-तैसे कार्यालय में काम कर रहे कर्मचारी-अधिकारियों को बचाया। उपद्रवियों ने पुलिस को भी नहीं छोड़ा। दर्जनभर पुलिस कर्मी घायल हुए हैं, इनमें दो की हालत गंभीर बताई गई है। घटना के बाद मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने डीजीपी को तलब किया और रिपोर्ट ली। उन्होंने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। साथ ही सतनामी समाज के प्रमुख लोगों ने कहा है कि बाबा गुरु घासीदास ने सबको शांति के मार्ग पर चलने की शिक्षा दी है। हिंसा करना गलत है। उल्लेखनीय है कि सतनामी समाज की आस्था के प्रमुख केन्द्र गिरौदपुरी धाम से लगा हुआ है महकोनी ग्राम। वहां गुरु अमरदास जी के नाम से अमर गुफा स्थित है, जहां पर कई वर्षों से गुरुगद्दी और जैतखाम स्थापित है। प्रतिदिन पुजारी सुबह-शाम पूजा करते हैं। कुछ दिन पहले रात में असामाजिक तत्वों ने जैतखाम को काट कर फेंक दिया गया। इस घटना की जानकारी मिलते ही समाज के लोग भड़क गए थे। इस मामले में पुलिस ने तीन लोगों को गिरफ्तार भी किया है, लेकिन समाज के लोगों का कहना है कि ये असली आरोपी नहीं हैं। इसी मामले को लेकर आज प्रदर्शन था।


सीएम ने फौरन सीएस-डीजीपी को किया तलब
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने तुरंत एक्शन लिया। उन्होंने राज्य के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेश(डीजीपी) को तलब किया। इस दौरान घटना का ब्योरा लेने के बाद शांति सुरक्षा व्यवस्था बनाने के निर्देश दिए। इसके साथ ही रायपुर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक अमरेश मिश्र घटना स्थल पर पहुंचे हैं। बलौदाबाजार के पुलिस अधीक्षक सदानंद कुमार ने कहा है कि, उपद्रवियों को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि, सीसीटीवी फुटेज और वीडियोग्राफी की मदद से उपद्रवियों की पहचान की जा रही है। वहीं प्रदर्शनकारियों ने 13 पुलिसकर्मियों को भी घायल कर दिया है, इनमें से दो जवानों की हालत गंभीर बताई जा रही है।


शांति प्रदर्शन अचानक हुआ उग्र
सोमवार को प्रदेश भर से हजारों की संख्या में सतनाम समाज के लोग पहुंचे थे। लोग शांति पूर्वक प्रदर्शन भी कर रहे थे कि अचानक भीड़ में से कुछ लोग उग्र होने लगे। वे पुलिस को धकियाते हुए आगे बड़े। पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की तो पथराव किया और पुलिस के साथ झड़प की गई। दशहरा मैदान में उग्र प्रदर्शन करने के बाद प्रदर्शनकारियों ने पुलिस की सुरक्षा को भेदकर कलेक्टर कार्यालय पहुंचे। यहां कलेक्टर कार्यालय परिसर में खड़ी गाड़ियों को आग के हवाले कर दिया। बताया गया है कि इस प्रदर्शन में 3 से 4 हजार लोग शामिल थे। लेकिन पुलिस इन लोगों को उस समय रोक नहीं पाई जब वे प्रमुख सरकारी कार्यालयों की ओर बढ़ रहे थे।


कलेक्टर और एसपी दफ्तर में हड़कंप
जिस वक्त उपद्रवी कलेक्टोरेट और एसपी कार्यालय के साथ जिला पंचायत भवन के सामने गाड़ियों को तोड़ रहे थे उस वक्त वहां बड़ी संख्या में कर्मचारी-अधिकारी काम कर रहे थे। अचानक हुई हिंसा से हड़कंप मच गया। पुलिस ने सूझबूझ दिखाते हुए कर्मचारियों और अधिकारियों को दफ्तर से बाहर निकाला। इसी बीच दोनों दफ्तर पूरी तरह जलने लगे। पुलिस के साथ उपद्रवियों की झड़प हुई। 25 पुलिस कर्मियों के घायल होने की भी खबर है। बलौदाबाजार का कलेक्टोरेट कार्यालय प्रदेश के सबसे सुंदर दफ्तरों में से एक था। वह पूरी तरह खाक हो गया।

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